Edited By Ramanjot, Updated: 15 Dec, 2024 12:12 PM
स्कूली शिक्षा महानिदेशक झरना कामठान ने उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाल जिले के मुख्य शिक्षा अधिकारी को भी मामले की जांच करने को कहा है। बताया जाता है कि कक्षा आठ की एक छात्रा को बुधवार को उसकी शिक्षिका ने माथे से तिलक हटाने को कहा और कहा कि स्कूल में इसकी...
ऋषिकेश: उत्तराखंड के ऋषिकेश में माथे पर तिलक लगाकर स्कूल पहुंची एक छात्रा को कथित तौर पर कक्षा में प्रवेश न करने देने की घटना सामने आई है। इस घटना से नाराज छात्रा के माता-पिता और कुछ हिंदू संगठनों ने विरोध प्रदर्शन किया, जिसके बाद स्कूल प्रधानाचार्य को माफी मांगनी पड़ी।
स्कूली शिक्षा महानिदेशक झरना कामठान ने उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाल जिले के मुख्य शिक्षा अधिकारी को भी मामले की जांच करने को कहा है। बताया जाता है कि कक्षा आठ की एक छात्रा को बुधवार को उसकी शिक्षिका ने माथे से तिलक हटाने को कहा और कहा कि स्कूल में इसकी अनुमति नहीं है। लड़की ने शिक्षिका की बात मान ली और तिलक हटाने के बाद कक्षा में उपस्थित रही, लेकिन बाद में उसने अपने माता-पिता को इस बारे में बताया।
लड़की के माता-पिता गुरुवार को हिंदू संगठनों के साथ स्कूल में विरोध प्रदर्शन करने पहुंचे। विरोध प्रदर्शन में शामिल एक हिंदू संगठन के अध्यक्ष राजीव भटनागर ने कहा, ‘‘शिक्षिका को लड़की को तिलक हटाने के लिए मजबूर नहीं करना चाहिए था। तिलक लगाना हिंदू परंपरा है। किसी हिंदू को तिलक लगाने से कैसे रोका जा सकता है?'' स्कूल प्रधानाचार्य द्वारा लड़की के माता-पिता के अलावा विश्व हिंदू परिषद, बजरंग दल और राष्ट्रीय हिंदू शक्ति संगठन सहित प्रदर्शनकारी हिंदू संगठनों से माफी मांगे जाने के बाद मामला सुलझ गया।