Edited By Nitika, Updated: 13 Jun, 2024 01:32 PM
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उत्तराखंड में चारधामों सहित अन्य स्थानों में बढ़ते पर्यटन के मद्देनजर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों को चारधाम प्रबंधन यात्रा प्राधिकरण के गठन हेतु त्वरित कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
देहरादूनः उत्तराखंड में चारधामों सहित अन्य स्थानों में बढ़ते पर्यटन के मद्देनजर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों को चारधाम प्रबंधन यात्रा प्राधिकरण के गठन हेतु त्वरित कार्रवाई करने के निर्देश दिए।
यहां एक बैठक में मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि चारधाम यात्रा प्रबंधन प्राधिकरण का कार्यक्षेत्र सिर्फ चारधामों तक सीमित नहीं होगा और प्रदेश में सभी प्रकार की यात्राओं के प्रबंधन की जिम्मेदारी भी इसी प्राधिकरण की होगी। उन्होंने कहा कि प्राधिकरण के गठन के पीछे मुख्य उद्देश्य यही है कि प्रदेश में बढ़ते धार्मिक एवं सामान्य पर्यटन के मद्देनजर हमारे पास एक ऐसी संस्था हो, जो इनसे संबंधित सभी जिम्मेदारियों एवं तैयारियों का भलीभांति निर्वाह कर सके। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दूरगामी विजन के चलते आज प्रदेश में बड़ी संख्या में श्रद्धालु उत्तराखंड आ रहे हैं और खासतौर से इस बार के यात्रा सीजन में गंगोत्री एवं यमुनोत्री धामों में तीर्थयात्रियों की संख्या में दोगुना तक वृद्धि हुई है। इस वर्ष दस मई को चारधाम यात्रा शुरू हुई थी और अब तक चारों धामों में 21 लाख से अधिक तीर्थयात्री पहुंच चुके हैं। बुधवार शाम तक मिले आंकड़ों के अनुसार, केदारनाथ में 8,22,019, बद्रीनाथ में 5,42,310, यमुनोत्री में 3,82,122 और गंगोत्री में 3,81,256 श्रद्धालु भगवान के दर्शन कर चुके हैं।
मुख्यमंत्री ने यमुनोत्री धाम की कैरिंग कैपेसिटी (धारण क्षमता) यानि वहां होटल, अतिथि गृह जैसी ठहरने की सुविधाओं बढ़ाने के लिए एक कार्ययोजना तैयार करने को भी कहा। मुख्यमंत्री ने कहा कि चारधाम यात्रा के चलते ऋषिकेश पर बढ़े दवाब को कम करने के लिए पौड़ी जिले के कोटद्वार से भी यात्रा शुरू करने की संभावनाएं तलाशने को भी अधिकारियों से कहा। उन्होंने कहा कि अभी चारधाम यात्रा मुख्य रूप से ऋषिकेश से संचालित होती है लेकिन बड़ी संख्या में यात्रियों के पहुंचने के चलते वहां यातायात जाम की समस्या भी बढ़ी है।
धामी ने केदारनाथ धाम, हेमकुंड साहिब व यमुनोत्री धाम के लिए रोपवे निर्माण के लिए निविदा प्रक्रिया को भी शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिए। बैठक में उन्होंने कहा कि टिहरी झील और आसपास के क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए एशियाई विकास बैंक ने 1200 करोड़ रु का अवस्थापना संबंधी प्रोजेक्ट स्वीकृत किया गया है। उन्होंने इसकी निविदा प्रक्रिया में भी तेजी लाने को अधिकारियों से कहा।